03 जून 2020- मेरठ , एजेंसी: मंडल की शुगर मिलें किसानों का गन्ना मूल्य भुगतान दबाकर बंद हो गई। मिलों ने 1 जून तक खरीदे 5149 करोड़ रुपये के गन्ने का केवल 2098 करोड़ रुपये का ही भुगतान किया है। मिलों के पास किसानों का करीब 3050 करोड़ रुपया दबा है। शासन ने भी मिलों को नोटिस देकर इतिश्री कर ली है।
मेरठ जनपद की मिलों ने भी गन्ना मूल्य भुगतान करने में तेजी नहीं दिखाई है। दौराला शुगर मिल को छोड़कर बाकी मिलों ने तिजोरी का मुंह नहीं खोला है। सबसे कम भुगतान किनौनी शुगर मिल ने किया है। पिछले दिनों शासन ने पेमेंट करने के नोटिस मिलों को भेजे थे।
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अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के अध्यक्ष सरदार वीएम सिंह का कहना है कि हर मिल की सीसी लिमिट होती है। मिलों के पास चीनी के अलावा एथनॉल, अल्कोहल और गन्ने के सह उत्पाद शीरा, खोई, कोजनरेशन आदि से भी पैसा आता है।
लेकिन इनकी नीयत किसानों का हक दबाने की हो गई है। कोरोना काल में फूड वॉरियर बनकर उभरे किसानों का तो सरकार को अविलंब भुगतान कराना चाहिए।
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